टेन न्यूज नेटवर्क
नोएडा (10/01/2023): नोएडा में स्कूल, कॉलेज और कई शिक्षण संस्थान एवं उद्योग धंधे स्थित है। जिस कारण से देश के विभिन्न राज्यों से एवं विदेशों से भी शिक्षार्थी एवं रोजगार के लिए लोग नोएडा में रहने आते हैं।
मुख्यत: नोएडा में छात्र-छात्राएं पीजी (पेइंग गेस्ट) में रहते हैं। इस कारण सेक्टर में जगह जगह पीजी की संख्या बढ़ने से सेक्टरवासियों को काफी परेशानी होती है। नोएडा के अलग अलग सेक्टर्स में रहने वाले लोग पीजी के कारण हो रहे समस्याओं से निजात दिलाने के लिए नोएडा प्राधिकरण से अपील कर रहे हैं।
कोनरवा नोएडा के पी.एस.जैन ने टेन न्यूज नेटवर्क के साथ टेलिफोनिक बातचीत में कहा कि “शहर के अधिकांश सेक्टरों में पीजी का चलन बढ़ता जा रहा है। जिससे सेक्टर वासियों को काफी असुविधाओं का सामना करना पड़ रहा है। पीजी संचालन के विरुद्ध प्राधिकरण के द्वारा पहले भी कार्यवाही की गई थी, अखबारों के माध्यम से जानकारी मिली थी कि उसके खिलाफ पीजी संचालकों ने उच्च न्यायाल से स्टे ले लिया था।”
“इसके बाद प्राधिकरण द्वारा पीजी संचालको के विरुद्ध क्या कार्यवाही की जा रही है? तथा स्थगन समाप्त कराने पर क्या कार्यवाही की गई? जबकि दिन- प्रतिदिन सेक्टरों में नऐ-नऐ पीजी खुलते जा रहे हैं। प्राधिकरण को सेक्टरों में चलने वाले पीजी के विरुद्ध भी उपयुक्त नियम बना कर कार्यवाही करनी चाहिए तथा उच्च न्यायालय के स्थगन के समय जितने पीजी कार्यरत थे, अब उससे कई गुना ज्यादा पीजी वर्तमान में चल रहे हैं।”
कोरनवा नोएडा ने नोएडा प्राधिकरण को पीजी से होने वाली असुविधाओं से अवगत कराते हुए कहा कि जहां -जहां पर पीजी का संचालन किया जा रहा है वहां पर सेक्टरों में अनेक समस्याएं दिन-प्रतिदिन सामने आती है। इनके द्वारा पानी के ज्यादा प्रयोग के कारण सेक्टर वासियों को पानी का सही प्रेसर नही मिल पाता है। जिसके कारण पानी की टंकी भी नही भर पाती है। इसी प्रकार जिन सेक्टरों में ज्यादा पीजी है वहां पर सीवर की समस्या भी बहुत बढ़ती जा रही है, आऐ दिन सेक्टरों के सीवर जाम होते रहते हैं और उनको खुलवाने के लिए सेक्टर में रहने वाले दुसरे लोग को परेशान होना पड़ता है। क्योंकि मकानो के मानको से लगभग 10 गुना अधिक लोग पीजी में रहते है।
कोनारवा द्वारा नोएडा प्राधिकरण से अपील की गई है कि पीजी के विरुद्ध उपयुक्त नियम बनाए जानें चाहिए और जो संचालक नियमों के पालन में लापरवाही बरतते हैं, उनपर कार्रवाई की जानी चाहिए।।