संगीत हमारी आम जिंदगी में बहुत ही खूबसूरत रोल अदा करता है। जिंदगी का हर पल बहुत खूबसूरत है बस हमें उस पल को जीना आना चाहिए। सीखने की कोई उम्र नहीं होती बस सीखने की चाह होनी चाहिए। आज ग्लोबल फिल्म समारोह के दूसरे दिन मुझे बहुत खुशी है कि हमारे इस समारोह में बहुत ही दिग्गज लोग जैसे बाॅलीवुड के सिंगर अभिजीत भट्टाचार्य, संगीतकार दिलीप सेन, कलाकार यशपाल शर्मा, निर्देशक नीरज घायवान, हाॅलीवुड कलाकार डोमिनिक स्वैन व फिल्म निर्देशक राजू पारेसकर बैठे है जो अपनी मेहनत व लगन के चलते कामयाब बने है और अंतराष्ट्रीय स्तर पर अपना नाम कमाया है, यह कहना था मारवाह स्टूडियो के निदेशक संदीप मारवाह का।
इस अवसर पर दिलीप सेन ने कहा एक संगीतकार को गायन, नृत्य व वाचन तीनो का ज्ञान होना चाहिए। मेरा मानना यही है कि अपने काम को इबादत मान के करें जाए तो आप को मंजिल जरूर मिल जाएगी। अभिजीत ने कहा सीख के आप सब कुछ बन सकते हैं लेकिन गायक पैदा होते हैं। अगर आप को अपनी मेहनत से कुछ मिलता है तो उसके महत्व को समझो। यशपाल शर्मा ने कहा मुझे थियेटर करना बहुत पंसद है और मैं इसके लिए फिल्म भी छोड़ देता हूं और अगर कोई फिल्म साइन करता हूं तो जी जान से उसी में लग जाता हूं। सिनेमा पैशन से बनता है पैसो से नहीं पैसा बाद में आता है। आप सभी छात्रों से यही कहना चाहता हूं कि लोग क्या कहेगें अगर आप यह सोचने लग जाएगें तो लोग क्या करेगें।
नीरज ने कहा फिल्म बनाने के लिए किसी विशेष भाषा का ज्ञान होना जरूरी नहीं। बिना अंग्रेजी के भी आप निर्देशक बन सकते हैं बस अपने काम पर पकड़ अच्छी होनी चाहिए। राजू पारेसकर ने कहा मैने अपने जेब खर्च से एक शाॅर्ट फिल्म बनाकर अपने फिल्मी सफर की शुरूआत की थी। हर फील्ड में शिक्षा का होना बहुत जरूरी है और हमारे समय में तो मारवाह जैसा अंतराष्ट्रीय स्तर का संस्थान था ही नहीं जो आप लोगों के पास है।
ग्लोबल फिल्म समारोह के दूसरे दिन बच्चों के लिए फिल्में दिखाई गई जिसमें चाक एंड डस्टर शामिल थी साथ ही कई रंगारंग कार्यक्रमों का भी आयोजन किया गया। अन्य कार्यक्रमों में सेमीनार व संगीतमय मनोरंजक कार्यक्रम, फैशन शो का आयोजन किया गया। इस अवसर पर अभिषेक गोस्वामी की पेटिंग प्रदर्शनी का भी आयोजन किया गया। अभिजीत भट्टाचार्य ने भी अपने गीत गाकर छात्रों को नाचने पर मजबूर कर दिया। संदीप मारवाह ने आए हुए सभी अतिथियों को सम्मानित किया।