नोएडा – जब से उत्तर प्रदेश में योगी सरकार आयी है जनता के लिए ख़ुशी की लहर है और शयद अब उत्तर प्रदेश उत्तम प्रदेश बन जाये , जिस तरह से योगी एक बाद एक नए नए फैसले ले रहे है और मंत्री से लेकर अधिकारी तक जनता को पूरा समय दे रहे है और काम कर रहे है। और जो भी घोटाले पिछली सरकार मे हुऐ है उनको भी जनता के सामने उजागर करने का आदेश दे दिया है आज योगी सरकार को एक महीना हो गया है आज भी योगी जी फूल एक्शन मे है ऐसा ही आदेश योगी जी ने दिया है मिलावटखोरों के खिलाफ , जो भी कोई व्यक्ति मिलावट करता पाया गया या नकली माल बेचता पाया गया। तो उस पर तुरंत करवाई करके जेल भेजा जाये। मिलावटखोरों के खिलाफ सख्त कानून बनाने जा रहे है ताकि मिलावटखोरों के सख्त सिंकंजा कसा जा सके। ऐसा ही एक मामला ग्रेटर नोएडा का आया है एक फूड इंस्पेक्टर द्वारा रिश्वत लेने और शिकायत खाद्य मंत्री अतुल गर्ग तक पहुंचने के बाद रकम वापस करने के मामले ने तूल पकड़ना शुरू कर दिया है। मंत्री तक घूसखोरी की शिकायत पहुंचने के बाद अब तक उसके विभाग में बने रहने पर भी लगातार सवाल उठाए जा रहे हैं। चर्चा है कि इंस्पेक्टर खाद्य विभाग के बड़े अधिकारियों के लिए भी वसूली का काम करता है, इसलिए वह इतने गंभीर मामले में फंसने के बाद भी विभाग में लगातार बना हुआ है।
मामले की गंभीरता को देखते हुए खाद्य मंत्री अतुल गर्ग ने उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई करने को कहा है। हालांकि इस मामले में अभी तक उनके पास कोई लिखित शिकायत नहीं पहुंचने से कार्रवाई में बाधा आ रही है। कि ग्रेटर नोएडा के जिस व्यापारी ने अपने एक परिचित भाजपा नेता के माध्यम से मंत्री के पास मौखिक शिकायत कराई थी, उनसे ली गई रिश्वत की 30 हजार रुपये की रकम को फूड इंस्पेक्टर ने वापस कर दिया था। इसलिए व्यापारी ने भी इस मामले में आगे लिखित शिकायत नहीं की। मामले के संज्ञान में आते ही खाद्य मंत्री ने विभाग के अधिकारियों से बातचीत कर कार्रवाई करने को कहा था। इसी के बाद अधिकारियों द्वारा फटकारे जाने पर फूड इंस्पेक्टर ने यह रकम वापस कर दी थी।
जानकारी के अनुसार फूड इंस्पेक्टर 30 हजार रुपये प्रतिमाह देने की मांग कर रहा था। अब ऐसे ही कुछ अन्य मामले में कई शिकायतकर्ता सामने आ रहे हैं। मेरे परिचित नवीन ग्रेनो के कालेज में कैंटीन चलाते हैं। उनसे भी 50 हजार रुपये की मांग की गई थी। पैसे नहीं देने पर सैंपल लेकर फंसाने की धमकी दी गई। मैं इसकी लिखित शिकायत मंत्री जी से करने जा रहा हूं। कई खाद्य व्यापारियों ने एक फूड इंस्पेक्टर द्वारा रिश्वत मांगे जाने की बात मुझसे की। इसकी लिखित शिकायत मैं जिला अधिकारी व डीओ एवं सिटी मजिस्ट्रेट तक को दे चुका हूं। नरेश कुच्छल, व्यापारी, हमारे पास किसी के माध्यम से मौखिक शिकायत आई थी, जिस पर तत्काल संज्ञान लेते हुए संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया गया। बाद में मुझे जानकारी मिली की इंस्पेक्टर ने रिश्वत की रकम वापस कर दी है। इसके बाद हमें लिखित शिकायत नहीं मिली। फिर भी इस मामले में कार्रवाई की जायेगी